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गाजियाबाद :- चुनाव प्रचार थमने के बाद पुलिस-प्रशासन की परीक्षा की घड़ी शुरू हो गई है। 22 जोन व 78 सेक्टरों में बांटे गए सभी 311 मतदान केंद्रों पर पुलिस की नजर हैं। पुलिस के लिए अधिक चुनौती उन पोलिंग बूथों पर है जहां से हिस्ट्रीशीटरों और अपराधियों के परिजन या रिश्तेदार चुनाव लड़ रहे हैं। पुलिस ने ऐसे 50 से अधिक अपराधी चिन्हित किए हैं जिनके अपने चुनाव मैदान में हैं। अधिकारियों का कहना है कि इन अपराधियों के परिजनों व रिश्तेदारों पर पैनी नजर रखी जा रही है।

एसपी ग्रामीण डॉ. ईरज राजा ने बताया कि नामांकन प्रक्रिया पूरी होने के बाद उम्मीदवारों का डाटा इकट्ठा किया गया था। उसमें सामने आया कि 50 से अधिक हिस्ट्रीशीटरों, अपराधियों व जेल में बंद आरोपियों के परिजन या रिश्तेदार पंचायत चुनाव लड़ रहे हैं। इन अपराधियों से जुड़े पोलिंग बूथों की विशेष निगरानी के निर्देश दिए गए हैं। एसपी ग्रामीण ने बताया कि पुलिस को गांवों में मुखबिर तंत्र मजबूत करने को कहा गया है। साथ ही बीट स्तर तक के पुलिसकर्मियों को उम्मीदवारों की हर हरकत पर नजर रखने के निर्देश दिए गए हैं। उनका कहना है कि अगर जेल में बंद किसी आरोपी द्वारा मतदाता या प्रतिद्वंदी उम्मीदवार को धमकी देने का मामला सामने आया तो कार्रवाई की जाएगी।

एसएसपी अमित पाठक ने बताया कि पंचायत चुनाव शांतिपूर्ण ढंग से संपन्न कराने के लिए पूरी तैयारी है। ऐसे में असलहा व शराब तस्करों के साथ-साथ आपराधिक प्रवृत्ति के व्यक्ति रडार पर हैं। अब तक आचार संहिता के उल्लंघन, शराब व असलहा तस्करी तथा महामारी अधिनियम के तहत 50 से अधिक केस दर्ज किए जा चुके हैं। नियमों के उल्लंघन करने वालों पर कार्रवाई होगी।
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