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गाज़ियाबाद :- सर्वप्रथम दीपावली पूजन के शुभ समय को ध्यान रखते हुए दीपावली पूजन की सभी सामग्री  तैयार कर ले। रोली ,चावल ,कलावा ,पान, सुपारी, लौंग ,इलायची ,बताशे, मिष्ठान, इत्र ,फल ,पुष्प माला , गुलाब और कमल के फूल ,सेव,अनार आदि फल ,इसके साथ साथ, लक्ष्मी गणेश जी की मिट्टी की मूर्ति ,श्री यंत्र ,कुबेर यंत्र , कमलगट्टे ,लक्ष्मी कौड़ी ,श्रीफल एकाक्षी नारियल आदि लक्ष्मी वर्धक  वस्तुएं भी लक्ष्मी गणेश जी के पूजन के समय रखें।
सबसे पहले तीन बार जल पीकर आचमन करें।
तत्पश्चात इसीलिए हाथ में जल पुष्प और कुछ पैसे लेकर संकल्प बोले।

संकल्प आप हिंदी में भी बोल सकते हैं अथवा संस्कृत में सूक्ष्म संकल्प इस प्रकार है।
हरि ओम् तत्सत्।
अद्य-------------गोत्रोत्पन्न: ------------नामोऽहम् संवत 2079 कार्तिक मासे कृष्ण पक्षे अमावस्या तिथौ सोमवासरे------------नगरे/ ग्रामे दीपावली पुण्यपर्वणि आयुष्यम् आरोग्यं वर्धनार्थम् धनधान्यादि संपदार्थम् गणेशं महालक्ष्मीं प्रसन्नार्थम् 
श्री गणेश  लक्ष्मी पूजनं दीपावली च पूजनं करिष्ये।
हिंदी में इस प्रकार से संकल्प कर सकते हैं।
ओम् तत्सत् ।
आज मैं ---------------गोत्र में उत्पन्न-------------(अपना नाम)
संवत 2019 कार्तिक महीने की अमावस्या तिथि को दिवाली पर्व की शुभ वेला में मैं अपने परिवार सुख शांति के लिए, धन धान्य वृद्धि के लिए और मां लक्ष्मी को प्रसन्न करने के लिए लक्ष्मी पूजन और दिवाली पूजन करूंगा।
ऐसा बोलकर हाथ में रखा जल  , पुष्प व पैसे गणेश जी  सामने छोड़ दे।
श्री गणेश ,इंद्र ,वरुण ,कुबेर ,नवग्रह देवताओं के पूजन के पश्चात महालक्ष्मी का आवाहन करें और पूजा करें।
कमल गट्टे की माला से इनमें से एक मंत्र का  जाप करें।
*ओम् श्रीं ह्लीं श्रीं कमले कमलालये प्रसीद प्रसीद ओम् श्रीं ह्लीं श्रीं महालक्ष्म्यै नमः*
*ॐ श्रीं श्रियै नमः*
*ॐ महालक्ष्म्यै नमः*।

तत्पश्चात अपने घर में अथवा दुकान में बहीखाता ,कंप्यूटर आदि का भी पूजन करें। क्योंकि पूरे वर्ष भर इन्हीं पर व्यापारिक और आर्थिक गतिविधियां होती हैं। एक थाली में 11  या 21 मिट्टी के दीए जलाएं और दीप मालिका पूजा करके उन्हें द्वार , छत और घर के अन्य स्थानों पर रख दें। बाद में श्री गणेश और लक्ष्मी जी की आरती कर खीर बताशे, मिष्ठान आदि का भोग लगाएं वह प्रसाद वितरण करें।
धनतेरस को लाए हुए मिट्टी के लक्ष्मी गणेश का  पूजन करें और अगले दिन पुराने लक्ष्मी गणेश मंदिर से हटा कर उनका विसर्जन कर दें और नए लक्ष्मी गणेश  मंदिर में स्थापित करें।

आचार्य शिव कुमार शर्मा,
आध्यात्मिक गुरु एवं ज्योतिषाचार्य
गाजियाबाद( उत्तर प्रदेश)
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