रिपोर्ट :- विकास शर्मा /संजय चौहान
हरिद्वार :- उत्तराखण्ड राज्य के जनपद जिले के जाने-माने वरिष्ठ पत्रकार, समाजसेवी व वरिष्ठ व्यापारी नेता स्व. श्री वेदप्रकाश चौहान को बैरागी कैम्प स्थित धोबी घाट पर सैकड़ों की संख्या में मौजूद रजक समाज के लोगों द्वारा भावभीनी श्रद्घांजलि अर्पित की गयी। इस मौके पर दो मिनट का मौन रखकर उन्हें श्रद्घासुमन अर्पित किए गए और उनके जीवन पर प्रकाश डाला। श्रद्घांजलि सभा को संबोधित करते हुए रजक समाज के शिरोमणि आरदणीय श्री हरीचन्द ने कहा कि स्व. श्री वेद प्रकाश चौहान ने अपने जीवन में पत्रकारिता के क्षेत्र में कभी कोई समझौता नहीं किया।
उन्होंने अपनी निष्पक्ष कलम से हजारों लाखों पीड़ितों को न्याय दिलाने का काम किया। उन्होंने निष्पक्ष व निर्भीक लेखनी के आगे बेईमानों व भ्रष्टाचारियों यहां तक कि चापलूसों के भी चूल्हे हिल जाया करते थे। वे अपनी रेलवे रोड़ स्थित ड्राइक्लीन की दुकान जो उनका पंजाब केसरी सहित अन्य अखबारों का कार्यालय भी हुआ करता था, वहीं से पीड़ितों की मदद पिछले 45 वर्षों से करते आ रहे थे। वह अपने जीवन के अंतिम श्रणों तक सच्चाई की लड़ाई लड़ते रहे और गरीब पीड़ितों को न्याय दिलाने का हर संभव प्रयास करते रहे।
इस दौरान उनके ज्येष्ठ पुत्र वरिष्ठ पत्रकार पंजाब केसरी ब्यूरो प्रमुख, शहर व्यापार मंडल उपाध्यक्ष, प्रेस क्लब सदस्य, महालक्ष्मी व्यापार मंडल संयोजक संजय चौहान ने अपने मार्गदर्शक प्रिय पिता स्व. वेद प्रकाश चौहान के जीवन पर प्रकाश डालते हुए उन्हें सर्वप्रथम संपूर्ण परिवार की ओर भावभीनी श्रद्घांजलि अर्पित करते हुए कहा कि पापा-एक मुस्कराहट,पापा-संवेदनाओं से परिपूर्ण इंसान,पापा-दोस्ती का एक अहसास,कभी यादों, कभी ख्वाबों में,कभी गुस्से से चेहरा लाल,तो कभी तपन में शीतल बयार,कभी स्नेह की प्रतिमा,तो कभी आशीर्वाद का अहसास,पापा-न भूल सकने वाला आभास, मेरे पिताश्री वरिष्ठ पत्रकार स्व. श्री वेद प्रकाश जी ने अपने जीवन में हार नहीं मानी। मेरे पिता कलमवीर श्री वेद प्रकाश चौहान जी की लेखनी के आगे अच्छे अच्छों ने अपने घुटने टेके। वह मात्र फोन पर ही पीड़ित, असहाय व गरीबों लोगों के काम करा दिया करते थे। वे अपने जीवन में एक निडर, मिलनसार व मृदुभाषी व्यक्ति थे। जिन्होंने कभी भी अपनी लेखनी को लेकर कोई समझौता नहीं किया।
वेदप्रकाश जीवनभर समाजिक क्षेत्र से भी जुड़े रहे, जो भी पीडित व्यक्ति उनके पास मदद के पहुंचता तो निसकोंच उनकी मदद करने के लिए तैयार रहते थे और किसी भी हद तक पहुंचकर उसकी मदद करते हुए उसको न्याय दिलाने का भरपूर प्रयास करते थे। शहर में उनकी छवि मददगार के रूप में बनी, हमेशा लोगों की मदद करते हुए उनको न्याय दिलाने का भरपूर प्रयास करते रहे। ऐसे व्यक्ति समाज में बहुत कम ही देखने को मिलते है। इस दौरान हरिद्वार की गूंज के प्रधान सम्पादक रजत चौहान ने अपने पिता तुल्य ताऊजी व पत्रकारिता क्षेत्र में उनके मार्गदर्शन स्व. श्री वेदप्रकाश चौहान जी को अपनी ओर से भावभीनी श्रद्घांजलि अर्पित करते हुए कहा कि उनका असमय चले जाना, पीडित-शोषित लोगों का मददगार का मसीहा के चले जाने के तौर पर देखा जा रहा है वाकई शहर के लोगों समेत पीडित-शोषितों के साथ- साथ उनके विरोधियों को भी परम आरणीय श्री वेद प्रकाश चौहान ताऊजी बहुत याद आयेगें।
एक बताते चले कि प्रेस क्लब हरिद्वार के वरिष्ठ सदस्य वेद प्रकाश चौहान 10 जनवरी की रात्रि को वरिष्ठ पत्रकार का उपचार के दौरान निधन हो गया। जिसकी जानकारी लगते ही पत्रकार जगत में शोक की लहर दौड़ गयी। वरिष्ठ पत्रकार के निधन की जानकारी शहर के लोगों को लगने पर पत्रकारों, व्यापारियों, राजनैतिक दलों सहित सरकारी विभागों व नेताओं में शोक की लहर दौड़ गयी थी। उन्हें श्रद्घांजलि देने का सिलसिला लगातार जारी है।