◼️गाजियाबाद महानगर में बनाया भगवान परशुराम द्वार एवं महर्षि कश्यप द्वार



रिपोर्ट :- अजय रावत 

गाजियाबाद :- लोहिया नगर हिंदी भवन विश्व ब्रह्मऋषि ब्राह्मण महासभा के पीठाधीश्वर ब्रह्मऋषि विभूति बीके शर्मा हनुमान ने कहा  कि गाजियाबाद महानगर में भगवान परशुराम द्वार एवं महर्षि कश्यप द्वार का निर्माण कराया है जिससे ब्राह्मण समाज में खुशी की लहर दौड़ गई है आज इस अवसर पर उत्तर प्रदेश सरकार के राज्य मंत्री नरेंद्र कश्यप का आभार व्यक्त करते हैं।

इस अवसर पर नरेंद्र कश्यप ने कहा कि परशुराम ऋषि जमदग्नि के पुत्र थे और इन्हें भगवान विष्णु का आवशावतार माना जाता है। माता-पिता के द्वारा इन्हें राम नाम दिया गया था, परंतु भगवान शिव द्वारा इन्हें परशु नाम का अस्त्र मिला था और इसी कारण इनका नाम परशुराम प्रचलित हुआ। परशुराम  के गुरु स्वयं भगवान शिव हैं। परशुराम बहुत बड़े शिव भक्त माने जाते हैं उन्हें भोलेनाथ की तरफ से कई वरदान भी मिले हैं। यह विष्णु भगवान के छठे अवतार होने के साथ साथ “आवेश” अवतार भी कहे गए हैं। संसार में जहाँ भी अन्याय और अत्याचार चरम पर पहुँचता है वहां परशुराम प्रकट हो कर अपना रौद्र रूप दिखाते हैं। 

इस अवसर पर ब्रह्म ऋषि विभूति बीके शर्मा हनुमान ने गाजियाबाद जनपद में भगवान परशुराम/ महामना मदनमोहन मालवीय के नाम पर एक भवन बनाने की मांग की समस्त सभा ने तालियों की उच्च ध्वनि से समर्थन किया। हिंदू धर्म के अनुसार, प्रारंभिक काल में ब्रह्मा जी ने समुद्र और धरती पर हर प्रकार के जीवों की उत्पत्ति की. इस काल में उन्होंने अपने कई मानस पुत्रों को भी जन्म दिया, जिनमें से एकमरीची थे. कश्यप ऋषि मरीची के विद्वान पुत्र थे. इनकी माता कला कर्दम ऋषि की बेटी व भगवान कपिल देव की बहन थीं. अपने श्रेष्ठ गुणों, प्रताप व तप के बल पर उनकी गिनती श्रेष्ठतम महान विभूतियों में होती थी.मान्यता है कि सृष्टि की रचना में कई ऋषि मुनियों ने अपना योगदान दिया. 
जब हम सृष्टि के विकास की बात करते हैं तो इसका अर्थ जीव, जन्तु या मानव की उत्पत्ति से होता है. पुराणों के अनुसार कश्यप ऋषि के वंशज ही सृष्टि के प्रसार में सहायक हुए. कश्यप जी की 17 पत्नियां थीं, जिनके वंश से सृष्टि का विकास हुआ।
 
इस अवसर पर विश्व ब्रह्मऋषि ब्राह्मण महासभा के हरियाणा प्रदेश अध्यक्ष कपिल वस्त विपिन कौशिक, कार्यकारी अध्यक्ष पंडित महेश कुमार शर्मा, शैलेंद्र शर्मा शालू महासचिव, डॉ सतीश भारद्वाज राष्ट्रीय प्रवक्ता, आचार्य योगेश दत्त गॉड सचिव, लोकेश कौशिक कोषाध्यक्ष, मनीष शर्मा महासचिव, रघुनंदन भारद्वाज महासचिव, सुभाष शर्मा महासचिव, ऋषि पाल शर्मा वरिष्ठ उपाध्यक्ष, बृजपाल शर्मा वरिष्ठ उपाध्यक्ष,देवाशीष ओझा वरिष्ठ उपाध्यक्ष, अलोकचंद शर्मा वरिष्ठ उपाध्यक्ष, आरसी शर्मा उपाध्यक्ष, कपिल पंडित उपाध्यक्ष, विजय कौशिक राष्ट्रीय मीडिया प्रभारी, विनीत कुमार शर्मा उपाध्यक्ष, देवेंद्र शर्मा संगठन मंत्री, शिवकुमार शर्मा, सचिन भारतीय, राहुल शर्मा राष्ट्रीय संयोजक, सागर शर्मा वरिष्ठ उपाध्यक्ष, अंकित शर्मा जिला अध्यक्ष, सीमा भार्गव राष्ट्रीय अध्यक्ष महिला शक्ति प्रकोष्ठ, अल्पना सागर शर्मा राष्ट्रीय प्रवक्ता महिला शक्ति प्रकोष्ठ, अशोक भारतीय राष्ट्रीय संयोजक, प्रीति चंद्र राय  आदि मौजूद थे।
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